दिल्ली हिंसाः 90 साल बाद राजधानी में फिर आयोजित होगा 'दांडी मार्च', समाज के कई लोग होंगे शामिल

 


दिल्ली हिंसाः 90 साल बाद राजधानी में फिर आयोजित होगा 'दांडी मार्च', समाज के कई लोग होंगे शामिल


राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने अंग्रेजों के नमक कानून के खिलाफ 12 मार्च 1930 को दांडी मार्च निकाला था। इसी महीने की 12 तारीख को भी एक मार्च निकाला जाएगा, जिसे नया दांडी मार्च का नाम दिया जा सकता है।


 

दिल्ली में हुई सांप्रदायिक हिंसा के विरोध में यह मार्च जामा मस्जिद से शुरू होकर महात्मा गांधी के समाधि स्थल राजघाट तक चलेगा। इसके बाद राजघाट पर सर्वधर्म प्रार्थना आयोजित की जाएगी। इस मार्च में मेधा पाटेकर और संदीप पांडेय सहित हजारों की संख्या में लोग शामिल होंगे। यह कार्यक्रम तीन दिनों तक चलेगा।

खुदाई खिदमतगार के सदस्य फैसल खान ने बताया कि दिल्ली के दंगों ने समाज की एकता को चोट पहुंचाने का काम किया है। इस एकता को दुबारा स्थापित करने के लिए सभी धर्मों के लोग मिलकर राजघाट पर सर्वधर्म प्रार्थना आयोजित करेंगे।

इससे सामाजिक एकता का संदेश जाएगा। उनकी कोशिश है कि इन दंगों के कारण समाज में अलग-अलग धर्मों के लोगों के बीच जो आपसी आत्म विश्वास खोया है, वह वापस आए और विश्वास बहाली का काम हो।